साल 2023 में इंफेक्शन और कई रोगों ने लोगों को परेशान किया। आगे जानते हैं इन रोगों के बारे में
कुछ ही दिनों में नया साल शुरू होने जा रहा है। दिसंबर का महीना जहां एक ओर बीते वर्ष का अंतिम समय बन रहा है, वहीं जनवरी एक नई शुरुआत की उम्मीद लेकर लोगों के अंदर जोश भर रहा है। अगर, बात सेहत की करें तो बीता साल काफी चुनौतीपूर्ण रहा। कोरोना के डर के बाद इस साल पूरा विश्व ने एक बार फिर से सामान्य जीवन के लिए बाहर निकलना शुरू किया। हालांकि कोरोना के नए वैरिएंट लगातार पहचान में आते रहे। फिलहाल वैक्सीनेशन के बाद से कोरोना का प्रभाव काफी हद तक कम हो गया है। जबकि कुछ देशों में आज भी कोरोना का संक्रमण तेज है। बीते वर्ष कोरोना के अलावा भी कुछ बीमारियों ने लोगों को लंबे समय तक परेशान किया।
दुनिया के अन्य देशों के साथ ही भारत में भी टोमैटो फीवर के केस देखने को मिले। मानसून के दौरान दक्षिण के केरल राज्य में इस बीमारी के केस में काफी इजाफा देखने को मिला। इसका असर मुख्य रूप से बच्चों में देखने को मिला। इसमें बच्चों में बुखार, थकान, सांस लेने में परेशानी के लक्षण होते हैं। साथ ही त्वचा फटने लगती है और टमाटर की तरह लाल दिखने लगती हैं।
आंख आने को कंजक्टिवाइटिस कहा जाता है। गर्मियों के समय में देशभर के लोगों को आंखे आने की समस्या का सामना करना पड़। इस बीते साल में आंखे की इस समस्या से परेशान लोगों के लाखों मामले दर्ज किये गए। लेकिन, आने वाले साल में हमें खुद ही आंखों की हाइजिन को मेंटेन करना होगा।
साल 2023 में ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस के मामले भारत में भी देखने को मिले। ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस एक व्यक्ति से दूसरे को हो सकता है। यह रोग श्वसन तंत्र में समस्या उत्पन्न करता है। हर उम्र के लोगों को यह रोग हो सकता है। जिन लोगों की इम्यूनिटी कमजोर होती है उनमें इसका वायरस जल्द अटैक करता है। इसके लक्षण फ्लू की तरह होते हैं।
बीत कुछ माह पहले चीन में निमोनिया के मामलों में तेजी आई थी। एक माह पहले चीन में लाखों लोग को रेस्पिरेटरी ट्रैक्ट से जुड़ी समस्या के मामले दर्ज किए गए। यह रोग मुख्य रूप से छोटे बच्चों में देखने को मिला। इसके बाद डब्लूएचओं ने मामले को गंभीरता से लेते हुए रोकथाम के लिए कई आवश्यक फैसले लिये।
कोरोना का कहर आज भी बरकरार है। साल 2023 में भी कोरोना के मामलों में आई कमी के कारण डब्लूएचओ ने इसे ग्लोबल हेल्थ इमरजेंसी से बाहर कर दिया। लेकिन कोरोना के नए वैरिएंट लगातार लोगो के लिए खतरे की घंटी बने हुए हैं। इस घातक बीमारी से बचने के लिए व्यक्ति को आने वाले वर्ष में भी सावधानियां बरतनी होंगी।
देश में समय-समय पर कई तरह की बीमारियां सामने आती है। बीते साल में कई तरह की बीमारियों ने पैर पसारे, जबकि आने वाले साल में भी हमें इन बीमारियों से बचने के लिए सावधानियों पर पूरा ध्यान रखना होगा।
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